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पत्नि के लिये चाहिये ? या कोई अच्छा सा दिखाऊ ??

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आईये थोडा मुस्कुरा ले भाई , आप की मुस्कुराहट ही तो चाहिये हमे:)
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पत्नि.... मैने ना आप के जन्म दिन पर इतनी महंगी चीज ली है ना ! बस आप देखते रह जाओगे ?
पति... शुक्र तुम्हे मेरा भी ख्याल आया, अच्छा ! दिखाओ ?
पत्नि... थोडी देर ठहरो मै पहन कर आई.
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एक पंजाबी के घर मै डाकू घुस आये, ओर पिस्तोल कनपटी पर रख कर बोले, ओये... बता सोना कहा है ?
पंजाबी... अजी बहुत बडा घर है... जहां चाहो सो जाओ.
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अभी अलबेला जी लखनऊ गये तो ताऊ ने कहां कि अलबेला जी आप एक सुंदर सा आईना फ़रेम वाला मेरे लिये लाना जिस मै मै अपनी मुंछो वाली शकल देख सकूं, अब अलबेला जी ने चार दिन दिन के बाद ताऊ जी को फ़ोन किया कि ताऊ यहां मेने बहुत से आईने देखे, सभी मे मुझे अपनी ही शकल दिखती है, जिस मे आप की शकल दिखे ऎसा एक भी आईना नही मिला
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एक सरदार जी सोचते रहे सोचते रहे.... ओर सोचते सोचते बुढे हो गये कि यार मेरे दो भाई है.... ओर मेरी बहिन के तीन भाई केसे हुये....... ओर एक दिन मर गये
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स्कुल मै अग्रेजी के मास्टर जी ने कहा कि आप किसी भी शव्द को जब दस बार बोलो गे तो वो हमेशा के लिये तुम्हारा हो जायेगा.
अनिता नाम की लडकी ने झट कहना शुरु कर दिया.... आकाश आकाश....
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एक आदमी रेडीमेट कपडो की दुकान पर गया !!
ग्राहक मुझे एक लेडिज सुट खरीदना है..?
दुकान दार.....
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पत्नि के लिये चाहिये ? या कोई अच्छा सा दिखाऊ ??

16 टिपण्णी:
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श्यामल सुमन said...
12 July 2009 at 4:53 am  

आनन्दम् राज भाई।

सादर
श्यामल सुमन
09955373288
www.manoramsuman.blogspot.com
shyamalsuman@gmail.com

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विनोद कुमार पांडेय said...
12 July 2009 at 5:22 am  

वाह,
खूब हँसाया,
आप जिन्हे छोटी छोटी बातों का नाम दिया है.
वो लोगो को बड़ी बड़ी मुस्कुराहट दे जाती है.

बधाई हो!!!

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डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक' said...
12 July 2009 at 6:40 am  

बहुत धीर-गम्भीर लतीफे हैं भाई!
हँसे बिना न रह सके।

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Anonymous said...
12 July 2009 at 7:37 am  

मज़ा आ गया :)

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सागर नाहर said...
12 July 2009 at 7:45 am  

बढ़िया चुटकुले.. सुबह सुबह मन में गुदगुदि कर गये।
धन्यवाद।
:)

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Pt. D.K. Sharma "Vatsa" said...
12 July 2009 at 9:22 am  

पत्नि के लिये चाहिये! या कोई अच्छा सा दिखाऊ ?? :)
भई मान गए भाटिया जी, कहाँ-कहाँ से ढूंढकर लाते हैं ये चुटकुले!!!!!!!

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दिगम्बर नासवा said...
12 July 2009 at 9:45 am  

पत्नि के लिये चाहिये ? या कोई अच्छा सा दिखाऊ ......

He...he...he... Bhatiya ji.... pitwaane ka poora intezaam hai......

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समयचक्र said...
12 July 2009 at 10:12 am  

बढ़िया चुटकुले.. धन्यवाद

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Udan Tashtari said...
12 July 2009 at 11:51 am  

इसी पर कल रात टिप्पणी नहीं जा रही थी. :) अब ठीक है.

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डॉ. मनोज मिश्र said...
12 July 2009 at 4:31 pm  

VAH-VAH MZA AA GYA.

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mehek said...
12 July 2009 at 5:10 pm  

bahut hi lajawab,mazedar:)

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प्रसन्नवदन चतुर्वेदी 'अनघ' said...
13 July 2009 at 4:40 am  

ha..ha.. ha. ..

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विधुल्लता said...
13 July 2009 at 7:41 am  

हँसी आ गई .भाटिया जी बस ऐसे ही हंसाते रहिये ....अच्छे लतीफे...

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Urmi said...
13 July 2009 at 8:31 am  

वाह वाह क्या बात है राज जी! मज़ा आ गया ! एक से बढकर एक लाजवाब चुट्कुल्ले !

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Murari Pareek said...
13 July 2009 at 2:09 pm  

anand aa gayaa !!

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www.dakbabu.blogspot.com said...
13 July 2009 at 3:05 pm  

Bahut din bad khul kar hansa..maja aa gaya.Ab to ata rahunga.Kabhi ap bhi padharen.

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